Friday, August 22, 2025
HomeCurrent Eventsत्रिपुरा के पारंपरिक किण्वित बांस 'मेली-एमिली' के मोटापा-रोधी गुणों पर शोध

त्रिपुरा के पारंपरिक किण्वित बांस ‘मेली-एमिली’ के मोटापा-रोधी गुणों पर शोध

त्रिपुरा की पारंपरिक किण्वित बांस की किस्म ‘मेली-एमिली’ की कोंपल (बैम्बू शूट) से प्राप्त अर्क मोटापा-रोधी प्रभाव दिखाता है। यह वजन नियंत्रण और चयापचय स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में सहायक है।

  • यह अर्क लिपिड संचय को कम करता है।
  • फैटी एसिड बीटा-ऑक्सीकरण को बढ़ावा देता है।

किण्वन का महत्व:

  • किण्वन मानव सभ्यता की प्राचीन तकनीक है, जिसका उपयोग खाद्य संरक्षण, पोषण बढ़ाने, स्वाद और सुगंध सुधारने के लिए किया जाता है।
  • विभिन्न समुदायों में यह प्रक्रिया पर्यावरण, खाद्य सामग्री और पारंपरिक ज्ञान के आधार पर भिन्न होती है।

शोध का विवरण:

यह शोध विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी उन्नत अध्ययन संस्थान (आईएएसएसटी), विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग (डीएसटी) के प्रोफेसर मोजीबुर आर. खान के नेतृत्व में किया गया।

  • शोध का केंद्र बिंदु उत्तर-पूर्व भारत की किण्वित बांस की टहनियों की विभिन्न किस्मों का मोटापा-रोधी प्रभाव था।
  • इन विट्रो सेल कल्चर अध्ययन में पाया गया कि ‘मेली-एमिली’ लिपिड संचय को कम करती है।

मोटापा-रोधी प्रभाव के कारण:

  1. लिपोलिटिक जीन में वृद्धि:
    • एंजाइम (एचएसएल, एलपीएल, और एजीटीएल) और फैट ब्राउनिंग रेगुलेटर जीन (यूसीपी1, पीआरडीएम16, और पीजीसी1-अल्फा) को सक्रिय करती है।
  2. थर्मोजेनिक प्रोटीन की अभिव्यक्ति:
    • एएमपीके सिग्नलिंग मार्ग के माध्यम से थर्मोजेनिक प्रोटीन को बढ़ाती है।
    • यह प्रक्रिया माइटोकॉन्ड्रियल बायोजेनेसिस को प्रोत्साहित करती है।
  3. ऊर्जा खपत बढ़ाना:
    • सफेद एडीपोसाइट्स (वसा कोशिकाओं) में ऊर्जा खपत को बढ़ाकर मोटापा-रोधी प्रभाव डालती है।

शोध के नतीजे:

यह अध्ययन बताता है कि ‘मेली-एमिली’ के अर्क का उपयोग वजन प्रबंधन और चयापचय स्वास्थ्य के लिए किया जा सकता है।

  • इस शोध के निष्कर्ष प्रतिष्ठित पत्रिका ‘फूड फ्रंटियर्स’ में प्रकाशित हुए हैं।

त्रिपुरा की पारंपरिक किण्वित बांस की टहनी ‘मेली-एमिली’ का अर्क प्राकृतिक मोटापा-रोधी समाधान के रूप में उभर रहा है। यह शोध न केवल पारंपरिक खाद्य पदार्थों के पोषण संबंधी गुणों को उजागर करता है, बल्कि स्वास्थ्य प्रबंधन के क्षेत्र में एक नई राह भी दिखाता है।

Join us

सम्बंधित सामग्री

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

सबसे अधिक पढ़ी जाने वाली